आजकल बहुत से लोग हार्मोन इंबैलेंस की समस्या से जूझ रहे हैं। यह एक ऐसी स्थिति है, जिसमें शरीर के हार्मोन सामान्य स्तर से ज्यादा या कम हो जाते हैं। इसके कारण मानसिक और शारीरिक सेहत पर असर पड़ता है। चेहरे पर पिंपल्स, बार-बार मूड खराब होना, नींद न आना और वजन में बदलाव जैसी समस्याएं देखने को मिलती हैं। एक्सपर्ट्स का मानना है कि इसका सबसे बड़ा कारण हमारी लाइफस्टाइल और खान-पान की गलत आदतें हैं।
क्यों बढ़ रही है परेशानी?
आज की तेज रफ्तार जिंदगी में लोग काम और पर्सनल लाइफ को मैनेज करते-करते स्ट्रेस में रहते हैं। कई लोग छोटी-बड़ी हर बात पर जरूरत से ज्यादा सोचते हैं, जिसे ओवरथिंकिंग कहा जाता है। यह आदत धीरे-धीरे शरीर के हार्मोन्स पर बुरा असर डालती है और लंबे समय तक बनी रहने पर गंभीर बीमारी का कारण बन सकती है।
एक्सपर्ट क्या कहते हैं?
दिल्ली के श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टीट्यूट में सीनियर कंसल्टेंट, साइकोलॉजी डॉक्टर प्रशांत गोयल बताते हैं कि ओवरथिंकिंग सीधे-सीधे हार्मोन्स को प्रभावित करती है। जब हम लगातार तनाव में रहते हैं तो शरीर में कॉर्टिसोल हार्मोन बढ़ जाता है। यह हमें सतर्क रहने में मदद करता है, लेकिन इसकी अधिकता से नींद खराब होती है, भूख में गड़बड़ी आती है और वजन तेजी से बढ़ या घट सकता है। स्ट्रेस का असर इंसुलिन हार्मोन पर भी पड़ता है, जिससे ब्लड शुगर लेवल बिगड़ सकता है और डायबिटीज का खतरा बढ़ जाता है। ज्यादा सोचने से शरीर में एड्रेनालाईन हार्मोन भी बढ़ता है। इसके कारण दिल की धड़कन तेज हो जाती है और ब्लड प्रेशर हाई हो सकता है।
मानसिक सेहत पर असर
ओवरथिंकिंग न सिर्फ शरीर पर बल्कि दिमाग पर भी बुरा असर डालती है। हार्मोन असंतुलन से व्यक्ति चिंता (Anxiety), तनाव (Stress) और यहां तक कि डिप्रेशन जैसी दिक्कतों का शिकार हो सकता है। यही कारण है कि समय रहते ओवरथिंकिंग पर काबू पाना बेहद जरूरी है।
कैसे करें ओवरथिंकिंग पर कंट्रोल?
डॉ. गोयल के मुताबिक अगर लोग अपनी सोच को कंट्रोल करना सीख लें, तो हार्मोन इंबैलेंस से बच सकते हैं। इसके लिए कुछ आसान उपाय मददगार हो सकते हैं:
रिलैक्सेशन और मेडिटेशन करें- रोज कुछ समय योग या ध्यान को दें, इससे दिमाग शांत रहेगा।
नियमित व्यायाम करें- वॉकिंग, योगा या हल्की एक्सरसाइज हार्मोन्स को बैलेंस रखने में मदद करती है।
बैलेंस डाइट लें- खाने में फल, हरी सब्जियां, साबुत अनाज और प्रोटीन शामिल करें।
अच्छी नींद लें- रोजाना 7 से 8 घंटे की नींद लेना शरीर और दिमाग दोनों के लिए जरूरी है।
सकारात्मक सोच अपनाएं- छोटी बातों पर जरूरत से ज्यादा सोचना छोड़ें और पॉजिटिव अप्रोच रखें।
ओवरथिंकिंग एक आदत है, जो धीरे-धीरे शरीर में हार्मोन्स का संतुलन बिगाड़ देती है। इसका असर नींद, भूख, वजन और ब्लड शुगर पर पड़ता है। यही नहीं, इससे तनाव और चिंता जैसी मानसिक समस्याएं भी बढ़ जाती हैं। इसलिए लाइफस्टाइल में सुधार, सही खान-पान और नियमित एक्सरसाइज से इसे रोका जा सकता है। समय रहते इस पर ध्यान देना जरूरी है, वरना हार्मोनल इंबैलेंस कई गंभीर बीमारियों की वजह बन सकता है।
