प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 4 नवंबर को नागालैंड, असम और तमिलनाडु में एक साथ सात जगहों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई Foreign Exchange Management Act (FEMA), 1999 के उल्लंघन से जुड़े एक मामले में की गई। जांच का केंद्र नागालैंड की एक कंपनी M/s Imsong Global Suppliers Co. रही, जो दावा करती है कि वह ट्यूनिशिया और इटली जैसे देशों को इंसानों के बाल एक्सपोर्ट करती है।
50 करोड़ रुपये का संदिग्ध विदेशी लेन-देन
ईडी को सूचना मिली थी कि कंपनी के विदेशी लेन-देन में गड़बड़ी की आशंका है। जांच में सामने आया कि Imsong Global Suppliers Co. को इटली और ट्यूनिशिया की कंपनियों से 50 करोड़ रुपये से ज्यादा की विदेशी राशि मिली है। लेकिन इतने बड़े ट्रांजेक्शन के बावजूद कंपनी ने अब तक बैंक को अपने निर्यात से जुड़े जरूरी दस्तावेज, जैसे शिपिंग बिल और इनवॉइस, जमा नहीं किए। यह सीधे-सीधे आरबीआई के नियमों और FEMA कानून का उल्लंघन है।
फर्जी कंपनी के जरिए पैसों का लेन-देन
जांच के दौरान एक और दिलचस्प खुलासा हुआ। ईडी ने पाया कि Imsong Global ने जो विदेशी रकम हासिल की थी, उसे उसने M/s Inchem India Private Limited नाम की दूसरी कंपनी को भेजा। यह भुगतान “मानव बाल खरीद” के नाम पर किया गया था। लेकिन हैरानी की बात यह है कि Inchem India Pvt. Ltd. कई सालों से बंद थी और 2015 में अचानक फिर से चालू की गई, ठीक उसी समय जब Imsong Global को विदेशी रकम मिलनी शुरू हुई। इस वजह से ईडी को शक हुआ कि यह कंपनी केवल पैसों की हेराफेरी के लिए बनाई गई थी।
चेन्नई की कंपनियों तक पहुंचा धन, पर सबूत नहीं मिले
ईडी की जांच में यह भी सामने आया कि Inchem India से यह रकम चेन्नई की कुछ कंपनियों को भेजी गई, जो कागज़ों पर मानव बाल के व्यापार में शामिल बताई जाती हैं। हालांकि, जांच में यह साबित नहीं हो सका कि वास्तव में कोई खरीद-बिक्री हुई भी थी या नहीं। इससे साफ है कि यह पूरा नेटवर्क पैसों को इधर-उधर करने के लिए बनाए गए फर्जी लेन-देन पर आधारित हो सकता है।
कंपनी के निदेशक को नहीं थी जानकारी
जांच के दौरान एक और चौंकाने वाली बात सामने आई। Inchem India Pvt. Ltd. के एक निदेशक ने खुद माना कि उन्हें कंपनी के असली कामकाज के बारे में कोई जानकारी नहीं है। वे सिर्फ नाम इस्तेमाल करने के बदले वेतन लेते थे। इस बयान के बाद ईडी ने कई जरूरी दस्तावेज़ और डिजिटल सबूत ज़ब्त किए हैं। अब एजेंसी पूरे मामले की तह तक पहुंचने के लिए आगे की जांच कर रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि यह मानव बाल के व्यापार का असली मामला है या करोड़ों की मनी लॉन्ड्रिंग का खेल।