China में बढ़ा शेयर का निवेश, इंडियन मार्केट से हुआ इस वजह से मोहभंग !

पिछले कुछ दिन भारतीय शेयर बाजार के लिए अच्छे साबित नहीं हुए हैं. शेयर मार्केट लगातार क्रैश रहा. जिसकी वजह से निवेशकों में खासतौर पर छोटे निवेशकों में घबराहट का माहौल बना हुआ है. हालांकि मंगलवार को शेयर थोड़ा उठा लेकिन बीते 6 कारोबारी दिनों में निवेशकों के करीब 25 लाख करोड़ रुपये डूब गए.सोमवार को सेंसेक्स में 800 अंक से अधिक गिरावट आई जबकि निफ्टी भी 230 अंक से अधिक गिर गया.

विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार से मोहभंग

दरअसल शेयर बाजार से विदेशी निवेशक नकदी निकालकर चीन के मार्केट में लगा रहे हैं. देखा जाए तो अक्टूबर महीने में अब तक विदेशी निवेशकों ने शेयर बाजार से करीब 37 हजार करोड़ रुपए निकाल लिए हैं.खास बात ये है कि बीते 4 महीनों में विदेशी निवेशकों ने भारतीय बाजार में 1 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा पैसा शेयर बाजार में लगाया लेकिन अब वही निवेशक भारतीय बाजारों से पैसा निकाल रहे हैं. ऐसे में सवाल उठना लाजमी में है कि आखिर क्यों विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार से मोहभंग होता जा रहा है.

चीन के प्रोत्साहन पैकेज ने विदेशी निवेशकों को किया आकर्षित

भारतीय बाजारों से पैसा निकालकर विदेशी निवेशक चीन में निवेश कर रहे हैं. दरअसल निवेशकों को आकर्षित करने के लिए चीन ने एक चाल चली है. बीते दो सालों से खस्ताहाल इकोनॉमी को संभालने के लिए और अपनी अर्थव्यवस्था में जान फूंकने के लिए चीन ये चालें चल रहा है. हाल ही में चीन ने एक प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की. बाजार के जानकारों की मानें तो अपनी इकोनॉमी को बूस्ट करने के लिए चीन ने एक राहत पैकेज का ऐलान किया. चीन के इस राहत पैकेज ने विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने का काम किया है. इस राहत पैकेज की वजह से ही विदेशी निवेशक चीन की ओर आकर्षित हो रहे हैं और भारतीय बाजार से पैसा निकालकर चीन में लगा रहे हैं.

चीन में बढ़ा विदेशी निवेशकों का निवेश

वैश्विक ब्रोकरेज फर्म CLSA ने भी भारतीय बाजार से अपनी हिस्सेदारी घटाकर चीन में निवेश बढ़ा दिया है. इस ब्रोकरेज फर्म ने भारत के ओवरवेट को 20 फीसदी से घटाकर 10 फीसदी कर दिया, तो वहीं चीन में 5 फीसदी निवेश बढ़ गया है. सिर्फ इतना ही नहीं इजरायल-ईरान युद्ध का असर भी शेयर बाजार पर दिख रहा है. ग्लोबल ब्रोकरेज फर्म की मानें तो कच्चे तेल की कीमत में उछाल, आईपीओ का बूम और रिटेल निवेशकों का शेयर बाजार के प्रति बढ़ते रुझान के चलते भारतीय शेयर बाजार पर दवाब और बढ़ गया है.

Rishabh Chhabra
Author: Rishabh Chhabra